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बच्चों को कुपोषण मुक्त बनाने के लिए पूरे माह चलेगा अभियान

Campaign to make children malnutrition-free throughout the month
Highlights प्रभावी स्तनपान व संपूरक आहार, मोटे अनाज, मेरी माटी-मेरा देश पोषण भी पढ़ाई भी, पोषण वाटिका व एनीमिया के सुधार पर होगा ज़ोर

कानपुर नगर। जनपद को कुपोषण मुक्त बनाने के लिए एक सितम्बर से पोषण माह अभियान का शुभारंभ हो चुका है । इस क्रम में जनपद के आंगनबाड़ी केंद्रों पर जन जागरूकता पोषण रैली के साथ अन्य पोषण गतिविधियां पूरे सितम्बर माह संचालित की जायेंगी । 30 सितंबर तक चलने वाले अभियान के प्रभावशाली क्रियान्वयन के लिए जन आन्दोलन और सामुदायिक भागीदारी बेहद आवश्यक है। मुख्य विकास अधिकारी (सीडीओ) सुधीर कुमार के निर्देशन में समस्त कन्वर्जेन्स विभागों व विकासशील संस्थाओं के साथ पोषण व स्वास्थ्य सम्बन्धी गतिविधियां वृहद स्तर पर आयोजित की जाएंगी।

जिला कार्यक्रम अधिकारी (डीपीओ) दुर्गेश प्रताप सिंह का कहना है कि वर्ष 2018 से हर साल सितम्बर को राष्ट्रीय पोषण माह के रूप में मनाया जाता है। इस बार अभियान में पोषण से सम्बन्धित समस्त कन्वर्जेन्स विभागों के समन्वय एवं समेकित प्रयासों से पोषण आधारित जीवन चक्र के महत्वपूर्ण चरणों जैसे गर्भावस्था, शैशवावस्था, बचपन व किशोरावस्था में पोषण के सम्बन्ध में जनजागरूकता लाने के लिए प्रचार-प्रसार तथा विभिन्न कार्यक्रमों का आयोजन किया जाएगा। 

 जिला कार्यक्रम अधिकारी ने बताया कि इस वर्ष अभियान की मुख्य थीम "सुपोषित भारत, साक्षर भारत, सशक्त भारत" निर्धारित की गई है। पोषण अभियान के अन्तर्गत छह वर्ष से कम आयु के बच्चे, गर्भवती, स्तनपान कराने वाली धात्री माताओं तथा किशोरी बालिकाओं के पोषण स्तर में सुधार किये जाने के लिए निरंतर प्रयास किये जा रहे हैं। 

उन्होंने बताया कि इस माह प्रमुख रूप से ‘प्रभावी स्तनपान व संपूरक आहार’, ‘स्वस्थ बालक स्पर्धा’, ‘पोषण भी पढ़ाई भी’, ‘मिशन लाइफ के माध्यम से पोषण स्तर में सुधार’, ‘मेरी माटी-मेरा देश’, "मोटे अनाज " एवं "पोषण वाटिका" की उपयोगिता व महत्व, ‘जनजातीय केन्द्रित पोषण अभिमुखीकरण’ एवं ‘एनीमिया (खून की कमी) स्तर में सुधार के लिए परीक्षण, उपचार व संवाद’ पर ज़ोर दिया जाएगा। इन सभी थीम पर कार्य करने के लिए बाल विकास सेवा एवं पुष्टाहार विभाग के साथ-साथ अन्य विभाग जैसे स्वास्थ्य, पंचायती राज विभाग, शिक्षा, खाद्य व रसद, कृषि व उद्यान विभाग, आयुष, नमामि गंगे एवं ग्रामीण जलापूर्ति, ग्राम्य विकास विभाग की अहम भूमिका रहेगी। 

स्वास्थ्य विभाग के सहयोग से स्वस्थ बालक स्पर्धा, गृह भ्रमण व केन्द्र आधारित गतिविधियां, बच्चों व गर्भवतियों की नियमित जांच, वजन, उपचार व परामर्श, पोषण रैली आदि गतिविधियों का आयोजन किया जाएगा। शिक्षा विभाग के सहयोग से स्कूल केन्द्रित जन जागरूक पोषण व स्वास्थ्य वर्धक संबंधी गतिविधियां आयोजित की जाएंगी। ग्राम्य विकास विभाग, उद्यान विभाग व पंचायती राज विभाग के समन्वय व सहयोग से आंगनबाड़ी केंद्र तथा सामुदायिक भूमि पर पोषण वाटिका को बढ़ावा दिया जाएगा। सोशन मीडिया प्लेटफॉर्म व अन्य माध्यमों के जरिये प्रचार-प्रसार पर ज़ोर दिया जाएगा। इसके साथ ही शिक्षकों, डॉक्टरों, किसानों, व्यापारियों आदि का भी सहयोग लिया जाएगा। इसके अतिरिक्त पोषण माह के दौरान किये जा रहे कार्यक्रमों व गतिविधियों के फोटोग्राफ तथा वीडियो एवं उसका संक्षिप्त विवरण सहित नियमित रूप से जन आन्दोलन डैशबोर्ड ‘पोषण अभियान’ पर अपलोड किया जाएगा। पोषण ट्रैकर एप्लीकेशन पर भी नियमित डाटा फीडिंग पर ज़ोर दिया जाएगा।

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